कृष्ण बड़े गंभीर दिखे
मुख पर 'गुरु रूप' दिखाई दिया
मुस्कान किरण फूटी नन्ही
अमृत पथ शब्द सुनाई दिया
केशव करुणामय बोल गए
भावबंधन सारे खोल गए
वो मुख कान्हा का ही तो था
जिसमें जग सकल दिखाई दिया
अशोक व्यास
न्यूयार्क, अमेरिका
२४ जनवरी ०५ को श्यामार्पित
२६ फरवरी १० को लोकार्पित
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