Monday, January 3, 2011

छवि श्याम की भक्त धरोहर


भर प्रेम प्याला ठाकुर संग
आनंद नहर चल पड़ी सखी
तन्मय थी वो, जग ये जाना
बिरहा में जल पड़ी सखी


अमृत सिन्धु श्याम मनोहर 
छवि श्याम की भक्त धरोहर

नन्दनंदन का क्रीडा कौतुक
पावन हो मन, नित्य श्रवण कर
 
 
१२ और १७ फरवरी २००६ को लिखी 
३ जनवरी २०११ को लोकार्पित

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